लोकसभा में सोमवार को तीखी बहस के बीच नागरिकता संशोधन बिल पेश हो गया। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने लोकसभा में बिल को पेश किया और इस दौरान विपक्षी पार्टियों पर जमकर बरसे। विपक्ष द्वारा बिल के अल्पसंख्यक विरोधी होने का आरोप लगाने पर शाह ने 1947 देश के बंटवारे का जिक्र करते हुए कांग्रेस पर हमला बोला। उन्होंने कहा कि धर्म के आधार पर देश का विभाजन तो कांग्रेस पार्टी ने किया है, हमने नहीं। कांग्रेस ने अगर धर्म के आधार पर देश का विभाजन नहीं किया होता तो आज यह नहीं होता।
इससे पहले केंद्रीय मंत्री और बीजेपी सांसद गिरिराज सिंह ने बिल के विरोध के सवाल पर कहा कि लोकतंत्र में सबको विरोध करने का अधिकार है। हालांकि, उन्होंने लगे हाथ यह सवाल भी कर दिया कि क्या पड़ोसी देशों में गैर-मुस्लिमों पर अत्याचार नहीं हो रहे हैं? उन्होंने पूछा, ‘क्या यह सच नहीं है कि पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान से जो गैर-मुस्लिमों के साथ जो अत्याचार हो रहा है। वहां गैर-मुस्लिम प्रताड़ित हो रहे हैं और उनकी आबादी तेजी से घटी है। धर्म के आधार पर बंटवारे के बाद भी हमने सर्वधर्म समभाव की भावना बरकरार रखी।
उन्होंने कहा कि पाकिस्तान, बांग्लादेश, अफगानिस्तान में गैर-हिंदुओं की माता-बहनें सुरक्षित नहीं हैं, उनके पूजास्थल सुरक्षित नहीं हैं। गिरिराज ने कहा कि सबको देखना चाहिए कि 1947 के बाद पाकिस्तान और बांग्लादेश में हिंदू की बेटियों के साथ बलात्कार हो रहा है। हमारा फर्ज बनता है कि उनके लिए (भारत को) शरणस्थली बनाएं।